प्रतिवेदन

प्रति,

नायब तहसीलदार महोदय

वृत्त………….. तहसील……………. जिला………………..

विषय: रजिस्टर्ड विक्रय पत्र के अनुसार नामांतरण हेतु प्रतिवेदन बावत।

आवेदक/आवेदिका………………….……… पिता/पति…………………………… जाति…..……………. निवासी ………………..के द्वारा इस न्यायालय में आवेदन पत्र पेश किया जाकर निवेदन किया गया है कि आवेदक/आवेदिका के द्वारा ग्राम………………… में स्थित भूमि खसरा नंबर…………………… रकबा क्रमशः………………………. में से रकबा क्रमशः…………………….. हे. लगान…………………..भूमि को रजिस्टर्ड विक्रय पत्र क्रमांक…………….. ……………………………………… दिनांक……………. से क्रय करने से आवेदक/आवेदिका के पक्ष में नामांतरण करने का किया जावे। मेरे द्वारा आवेदक/आवेदिका के आवेदन एवं संलग्न सहपत्रो की जांच निम्नवत की गई-

क्रजानकारी के बिंदुओं का विवरणजांच अनुसार स्थिति
1उक्त क्रय किये गए खसरा नम्बरों की अधिकार अभिलेख में क्या स्थिति है।………………………………………………………………………………………………………
2क्रय किये गए खसरा नंबर क्या पूर्व में शासकीय भूमि रही है।
3क्रय किये गए खसरा नंबर पट्टे पर किसी को पूर्व में वंटित किये गए है।
4क्रय की गई भूमि क्या विक्रय से प्रतिबन्ध है अथवा रही है या अवैध कालोनी की श्रेणी में होने से प्रबंधन में ली गई है।
5क्रय की गई भूमि/खसरा नंबर क्या छोटे छोटे भू-खंडो में विक्रय किया जा रहा है।
6क्रय की गई भूमि/खसरा नंबर क्या भू-दान में प्राप्त वंटित भूमि है।
7क्रय की गई भूमि क्या मंदिर की भूमि है। जिसके कलेक्टर प्रबंधक के रूप में दर्ज है।
8क्रय की गई भूमि क्या वक्फ संपत्ति है।
9क्रय की गई भूमि क्या ग्राम नाप मद की या सेवा भूमि है।
10वर्तमान अभिलेख में किसके नाम दर्ज है स्पष्ट करे।
11क्रय की गई भूमि का नामांतरण किया जाना उचित है अथवा नहीं। इस पर स्पष्ट टीप दें।

अतः प्रकरण में उक्तानुसार बिंदुवार की गई जांच के आधार पर प्रश्नाधीन भूमि का नामांतरण किया जाना उचित/अनुचित है

पटवारी

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